पांच राज्यों में आज वोटिंग हो रही हैं असम में आखिरी चरण के के लिए तो वहीं पश्चिम बंगाल में तीसरे चरण के लिए वोट डाले जा रहे हैं. इसके अलावा केरल, तमिलनाडु और पुडुचेरी में आज ही यानी एक ही चरण में मतदान समाप्त हो जाएंगे। इससे पहले पश्चिम बंगाल विधानसभा चुनाव के तीसरे चरण में मंगलवार को 31 सीटों पर होने वाले मतदान की तैयारियां पूरी कर ली गई हैं। अस्मिता की राजनीति की जड़ें गहरी हुई हैं. चरण में 78.5 लाख से अधिक पंजीकृत मतदाता हैं, जिन्हें 205 उम्मीदवारों के राजनीतिक तकदीर का फैसला करना है. उनमें भाजपा नेता स्वप्न दासगुप्ता, तृणमूल कांग्रेस के मंत्री आशिमा पात्रा, माकपा नेता कांति गांगुली प्रमुख नेता हैं।
केरल शांतिपूर्ण मतदान सुनिश्चित करने के लिए सुरक्षा के कड़े इंतजाम किये गये हैं.केंद्रीय बलों की 618 कंपनियों को 10871 मतदान केंद्रों पर तैनात किया गया है.चुनाव आयोग ने सारे मतदान केंद्रों को संवेदनशील’ के रूप में पहचान की है.केंद्रीय बलों की मदद के लिए राज्य पुलिस बलों को भी रणनीतिक स्थानों पर तैनात किया जाएगा।
इन 31 विधानसभा क्षेत्रों में 16 दक्षिण 24 परगना (पार्ट टू), सात हावड़ा (पार्ट वन) और आठ हुगली (पार्ट वन) में हैं.राज्य में 2016 में हुए पिछले विधानसभा चुनाव में तृणमूल कांग्रेस ने इन 31 में से 30 सीटें जीती थीं और कांग्रेस हावड़ा जिले की अमता विधानसभा सीट ही जीत पायी थी। तृणमूल कांग्रेस के कद्दावर नेता एवं सांसद अभिषेक बनर्जी के डायमंड हार्बर लोकसभा क्षेत्र पर सभी की नजर होगी क्योंकि इस संसदीय क्षेत्र की सात में से चार विधानसभा सीटों पर इस चरण में मतदान होंगे।
तृणमूल के अल्पसंख्यक वोटों में सेंधमारी भांपकर पार्टी प्रमुख ममता बनर्जी ने आईएसएफ को निशाने पर ले रखा है और आरोप लगाया है कि भाजपा ने उन्हें खड़ा किया है. सिद्दीकी ने इस आरोप का खंडन किया है. सत्तारूढ खेमे की चिंता बढ़ाते हुए भाजपा ने वर्तमान विधायक और तृणमूल कांग्रेस से उसके पाले में आये दीपक हलदर को चुनाव मैदान में उतार दिया है।
असम विधानसभा चुनाव के तीसरे और अंतिम चरण के लिए छह अप्रैल यानी आज 40 विधानसभा सीटों के लिए मतदान है. तीसरे चरण में नेडा के संयोजक और राज्य के मंत्री हिमंत बिस्वा सरमा सहित 337 उम्मीदवारों का भाग्य ईवीएम में सील हो जाएगा। चुनाव प्रचार समाप्त होने से पहले उम्मीदवार अंतिम समय तक प्रचार करते रहे. इनमें 25 महिला प्रत्याशी भी हैं।
तमिलनाडु में छह अप्रैल को होने वाले चुनाव में मतदाता अपना फैसला इलेक्ट्रानिक वोटिंग मशीन में दर्ज करेंगे और इससे यह तय होगा कि राज्य में अन्नाद्रमुक लगातार तीसरी बार जीत दर्ज करेगी या यहां सत्ता में बदलाव होगा. चुनाव प्रचार के दौरान अन्नाद्रमुक, द्रमुक, एएमएमके और मक्कल नीधि मय्यम ने खुद को मतदाताओं के समक्ष सर्वश्रेष्ठ विकल्प के तौर पेश करने का प्रयास किया. राज्य में 6.28 लाख से अधिक मतदाता है. विधानसभा की 234 सीटों के लिए 3998 उम्मीदवार चुनावी अखाड़े में ताल ठोक रहे हैं।