शिवाजी महाराज पुण्यतिथि ३ अप्रैल
आज वीर शिवाजी महाराज जयंती ३ अप्रैल को मनाई जाती है ! इसी दिन शिवजी महाराज का निधन १६८० ईसवी में हुआ था ! तब से लेकर हर साल ३ अप्रैल के दिन शिवजी महाराज के पुण्यतिथि दिवस के उपलक्ष में शिवाजी पुण्यतिथि को मनाया जाता है !
संक्षिप्त परिचय इस प्रकार है !
शासनावधि – 1674 से 1680
राज्याभिषेक – 6 जून 1674
पूर्ववर्ती- शाहजी
उत्तरवर्ती – सम्भाजी
जन्म – 19 फरवरी 1630 शिवनेरी दुर्ग
निधन – 3 अप्रैल 1680 रायगढ़
समाधि – रायगढ़
संतान – सम्भाजी, राजाराम, राणुबाई आदि.
घराना – भोंसले
पिता – शाहजी
माता- जीजाबाई
एक छोटी सी कहानी जो उनके वीरता को प्रदर्शित करती है और उनके जीवन घटना के क्रम में महत्वपूर्ण भाग के रूप में जाना जाता है, जब अजमल खान ने १२०००० सैनिकों के साथ १६६९ में तुलजापुर के मंदिरों को ध्वस्त करता हुआ सतारा से शिरवल पहुंच गया ! शिवाजी दुर्ग में थे ! अफजल खान ने अपने दूत कृष्ण भास्कर को संधि के लिए भेजा और कहलवाया कि शिवाजी अगर अधीनता स्वीकार कर ले तो सुल्तान उसे उन सभी क्षेत्रों का अधिकार दे देंगे जो शिवाजी के देख रेख में हैं।
हालांकि शिवाजी के मंत्री और सलाहकार इस सन्धि के पक्ष में थे पर शिवाजी को यह संधि पसंद नहीं आयी ! उन्होंने अफजल खान के पास अपने दूत गोपीनाथ जी को भेजा ! और गोपीनाथ के वापस आने पर उन्होंने भाँप लिया की अफजल खान की मंशा क्या है !
उन्होंने युद्ध के बदले अफजल खां को एक बहुमूल्य उपहार भेज कर यह सदेंश दिया की वह भी संधि चाहते है ! लेकिन सन्धि स्थल पर अफजल खान के सैनिक मौजूद तो थे ही शिवाजी ने अपने खास सैनिकों को भी छुपा रखा था ! जैसे ही अफजल खां ने अपने कटार से शिवाजी पर वार किया पहले से सावधान शिवाजी ने अफजल खां को अपने वाघ नखो से हमला कर मार दिया |
(10 नवम्बर 1659) यह चित्र उस दिन का साक्ष्य बना आज भी उस घटना को दुहराता है !



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